07/07/2025
10022403281002240178Picsart_25-05-23_23-23-40-978Picsart_25-05-12_18-07-06-196

स्मृति शेष डॉक्टर तारक नाथ जी की 30 वी पुण्यतिथि पर दी गई काव्य श्रद्धांजलि

0

स्मृति शेष डॉक्टर तारक नाथ जी की 30 वी पुण्यतिथि पर दी गई काव्य श्रद्धांजलि

वरिष्ठ कवित्री स्वर्गीय गीता श्रीवास्तव को भी लोगों ने किया याद
आइडियल इंडिया न्यूज़
डा प्रमोद वाचस्पति जौनपुर

अखिल भारतीय काव्य मंच के संस्थापक डॉ प्रमोद वाचस्पति के पिता स्मृति शेष डॉक्टर तारक नाथ जी की 30 वीं पुण्यतिथि के अवसर पर एक भव्य काव्य गोष्ठी का आयोजन किया गया ! सर्वप्रथम डॉक्टर तारक नाथ जी के चित्र पर माल्यार्पण एवं दीप प्रज्वलन कार्यक्रम अध्यक्ष डॉक्टर पी सी विश्वकर्मा सहित मुख्य अतिथि एवं विशिष्ट अतिथि तथा समस्त उपस्थित कवियों एवं शायरों द्वारा श्रद्धा सुमन अर्पित किया गया! उन्हें नमन करते हुए उनके कृतित्व एवं व्यक्तित्व पर चर्चा की गई! कार्यक्रम अध्यक्ष डॉक्टर पीसी विश्वकर्मा ने अपने संबोधन में कहा कि डॉक्टर तारक नाथ जी एक कुशल चिकित्सक एवं महान समाजसेवी थे !मृदुभाषी एवं सरल स्वभाव के कारण उनकी लोकप्रियता को आज भी लोग याद करते हैं! वे एक अच्छे कलाकार, रचनाकार, साहित्यकार के साथ-साथ सद्व्यवहार की मिसाल थे!

 

कवित्री श्रीमती विभा तिवारी द्वारा मां सरस्वती की वंदना से कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया! वरिष्ठ रचनाकार राजेश पांडे की इन पंक्तियों को लोगों ने खूब सराहा

मोहब्बत खींच लाई है मुझे इस आशियाने में!

यहां पर कौन किसको पूछता है इस जमाने में!!

फूलचंद भारती की रचना को लोगों ने पसंद किया
जीवन ज्योति जलाते रहिए
जो आया है सो जाएगा, बताते रहिए

वरिष्ठ कवि आशिक जौनपुरी की ये पंक्तियां काबिले तारीफ रहीं

इस तरह शोर मचाने की क्या जरूरत है!

आसमां सर पर उठाने की क्या जरूरत है!!

अमृत प्रकाश की इन पंक्तियों ने लोगों को तालियां बजाने के लिए मजबूर कर दिया

तुम को शामिल करेंगे बागों में !

मैंने फूलों से बात कर ली है!!

गीतकार आलोक द्विवेदी ने काव्य पाठ करके तो समा ही बांध दिया

देह का रूप, रूप का ज्ञान!

न समझेगा दर्पण नादान! !

कवि अरविंद की रचना ने काफी तालियां बटोरी

पास चली, खुशहाल चली,
मैं तो स्वामी के अपने द्वार चली! !

कवित्री विभा तिवारी की इन पंक्तियों ने महफिल को नई ऊंचाइयों बख्शी

मुझे जद्दोजहद करनी नहीं पड़ती,

अगर तुम ही हद से गुजर जाते तो अच्छा था!!

डॉक्टर पी सी विश्वकर्मा की इन पंक्तियों ने लोगों को सोचने पर मजबूर कर दिया

वो तो नाराज हो के रूठ गए

क्या कहूं बात तो जरा सी है!!

अखिल भारतीय काव्य मंच के संस्थापक डॉ प्रमोद वाचस्पति एवं अध्यक्ष असीम मछली शहरी ने भी काव्य पाठ किया !इसी क्रम में कलाधर यादव ,आशुतोष पाल शोहरत जौनपुरी ,अंसार जौनपुरी ,प्रेम तिवारी ,मोनिस जौनपुरी, रामजीत मिश्र ,विनय मिश्रा एडवोकेट, सविता अंशुमान सहित अनेक कवियों एवं शायरों ने काव्य पाठ करके कार्यक्रम को सफल बनाने में अपना योगदान दिया!
कार्यक्रम के समापन से पूर्व जनपद के वरिष्ठ कवित्री श्रीमती गीता श्रीवास्तव के एक हफ्ता पूर्व निधन होने पर भावभीनी श्रद्धांजलि दी गई तथा 2 मिनट का मौन रखकर उनकी आत्मा की शांति हेतु ईश्वर से प्रार्थना किया गया!
कार्यक्रम का संचालन डॉ प्रमोद वाचस्पति एवं धन्यवाद ज्ञापन असीम मछली शहरी द्वारा किया गया!

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You may have missed